Surya Satta
उत्तर प्रदेशलखीमपुर खीरी

बिगड़ी दिनचर्या, खानपान और तनाव बन रहा हाइपरटेंशन का कारण

युवा वर्ग भी तेजी से आ रहा चपेट में

लखीमपुर : हाइपरटेंशन यह ऐसी समस्या है, जिसे समय पर नियंत्रित न किया गया तो यह ब्रेन स्ट्रोक, हृदयघात, अवसाद, अंधेपन, किडनी फेलियर जैसी गंभीर समस्याओं का कारण बनती है. चिकित्सक इस बढ़ते खतरे को लेकर सभी लोगों को सावधानी बरतते रहने की सलाह देते हैं। इस बीमारी के प्रति लोगों को जागरूक करने के लिए हर साल 17 मई को इस वर्ल्ड हाइपरटेंशन डे मनाया जाता है.

सीएमओ डॉ. संतोष गुप्ता ने बताया कि आमतौर 50 साल की उम्र के बाद ही लोगों में इस बीमारी के होने की अधिक संभावनाएं रहती हैं. लेकिन बदली जीवनशैली में बीते कुछ सालों से युवा वर्ग तेजी से इसकी चपेट में आ रहा है. आमतौर पर लोग इसके शुरुआती लक्षणों को गंभीरता से नहीं लेते हैं, जो कतई ठीक नहीं है। यदि हाइपरटेंशन की समस्या हो रही है तो खानपान से लेकर अपनी दिनचर्या ठीक रखें और चिकित्सकीय परामर्श लें. दवाओं के साथ ही अनुशासित जीवनशैली से इस बीमारी को नियंत्रित किया जा सकता है. उन्होंने यह भी बताया कि सभी स्वास्थ्य केंद्रों पर इससे संबंधित जांच और दवाएं उपलब्ध हैं.

 

यह हैं जिले के आंकड़े

 

राष्ट्रीय परिवार स्वास्थ्य सर्वेक्षण (एनएफएचएस-5) के आंकड़ों के अनुसार जिले में 15 साल से अधिक उम्र की 12.8 प्रतिशत महिलाएं हल्के और 5.7 प्रतिशत महिलाएं मध्यम उच्च रक्तचाप (हाई ब्लड प्रेशर) से पीड़ित हैं. इसके अलावा 20.1 प्रतिशत महिलाएं गंभीर उच्च रक्तचाप से पीड़ित हैं. इसी तरह यदि पुरुषों की बात करें तो जिले के 15 साल से अधिक उम्र के 16.7 प्रतिशत पुरुष हल्के और 5.2 प्रतिशत पुरुष मध्यम उच्च रक्तचाप (हाई ब्लड प्रेशर) से पीड़ित हैं. इसके अलावा 22.4 प्रतिशत पुरुष गंभीर उच्च रक्तचाप से पीड़ित हैं.

 

यह है हाइपरटेंशन

 

एनसीडी सेल के प्रभारी डॉ. विजय वर्मा ने बताया कि हाई ब्लडप्रेशर या हाइपरटेंशन का कारण हर व्यक्ति में अलग-अलग कारणों से हो सकता है. चिकित्सकों के अनुसार पुरुषों में महिलाओं की अपेक्षा इसकी परेशानी अधिक होती है. इसके कारणों में किसी बीमारी का पारिवारिक इतिहास, तनाव, असंयमित खानपान, अनियमित जीवशैली, अतिमहात्वाकांक्षा आदि हो सकती है. कुछ मामलों में इसकी वजह आनुवांशिक भी होती है. स्वस्थ व्यक्ति का ब्लड प्रेशर 120/ 80 होता है. यदि यह 140/90 या इससे अधिक है तो यह सेहत के लिए ठीक नहीं है.

 

हाइपटरटेंशन के लक्षण

 

एनसीडी सेल के प्रभारी डॉ. विजय वर्मा ने बताया कि उलझन और घबराहट महसूस करना, तेज सिर दर्द होना, नाक से खून आना, अचानक पसीना आने के साथ धड़कनों का बढ़ना, सांस लेने में परेशानी होना, थकान होना, धुंधला दिखना हाइपरटेंशन के लक्षण हैं.

 

इसे जरूर करें

 

एनसीडी सेल के प्रभारी डॉ. विजय वर्मा ने बताया कि हाई ब्लडप्रेशर या हाइपरटेंशन से बचने के लिए पर्याप्त नींद लें, बिना चिकित्सकीय परामर्श के किसी भी दवा का लंबे समय तक सेवन न करें, धूमपान, अल्कोहल व तंबाकू उत्पादों के सेवन से बचें, नियमित व्यायाम और योग करें, वजन नियंत्रित रखें तनाव से बचें.

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