Surya Satta
उत्तर प्रदेश

डीएम या जिला उद्योग उपायुक्त की संस्तुति पर निवेशकों को भूमि खरीद पर मिलेगी छूट

 

औद्योगिक विकास व प्रोत्साहन नीति में स्पष्टीकरण के साथ अधिसूचना जारी

नीति के तहत जमीन खरीद से संबंधित दस्तावेज पर साक्षी के तौर पर करने होंगे हस्ताक्षर

पहले से नीति के आधार पर लाभ ले रहे निवेशकों को दोबारा नहीं मिलेगी छूट

लखनऊ : ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट (जीआईएस-23) को धरातल पर उतारने के लिए योगी सरकार ने तैयारी शुरू कर दी है. यूपी में सशक्त कानून व्यवस्था बनाकर निवेश के अनुकूल पहले ही माहौल दे चुकी योगी सरकार अब सुविधाओं का लाभ दिलाने के लिए सारी जमीन भी तैयार कर चुकी है. उत्तर प्रदेश औद्योगिक निवेश व रोजगार प्रोत्साहन नीति- 2022 के तहत नई इकाई लगाने के लिए स्टांप में छूट प्रदान की जाएगी. बुंदेलखंड-पूर्वांचल, पश्चिमांचल-मध्यांचल व नोएडा-गाजियाबाद के लिए छूट की सीमा अलग-अलग रखी गई है. हालांकि, ये भी स्पष्ट किया गया है कि नीति के तहत निवेश के लिए भूमि खरीद पर स्टांप ड्यूटी में लाभ जिलाधिकारी या जिला उद्योग उपायुक्त की संस्तुति पर ही प्राप्त होगा.

 

इन प्रतिबंधों/शर्तों के अधीन मिलेगी छूट

 

ताजा अधिसूचना के मुताबिक डीएम/उपायुक्त उद्योग को हस्तांतरण-पट्टा की पुष्टि करनी होगी कि यह छूट उत्तर प्रदेश औद्योगिक निवेश व रोजगार प्रोत्साहन नीति-2022 के अधीन ही दी जाए. उक्त दोनों में से किसी एक अधिकारी को इसके लिए साक्षी के रूप में हस्ताक्षर भी करना होगा. किसी अन्य नीति के अधीन सुविधा प्राप्त कर चुकी इकाई स्टांप शुल्क छूट या माफी प्राप्त करने के लिए पात्र नहीं मानी जाएगी। उपबंधों का क्रियान्वयन स्टांप व पंजीकरण विभाग द्वारा जारी/विद्यमान प्रक्रियागत सिद्धांतों के अनुसार ही किया जाएगा. 2022 में जारी हो चुके शासनादेश से ही यह नीति क्रियान्वयन के संबंध में प्रभावी मानी जाएगी.

 

स्टांप शुल्क में मिलेगी छूट, पूर्वांचल-बुंदेलखंड को वरीयता

 

शासन की तरफ से जारी अधिसूचना में प्रावधानों को स्पष्ट किया गया है। इसके तहत बुंदेलखंड व पूर्वांचल को वरीयता मिली है. जीआईएस के तहत कुल निवेश का 29 फीसदी पूर्वांचल व 13-13 फीसदी निवेश बुंदेलखंड-मध्यांचल में होगा. पश्चिमांचल में कुल निवेश का 45 फीसदी इनवेस्ट होगा। सरकार ने पिछड़े का दंश झेल रहे बुंदेलखंड व पूर्वांचल में सफलता के कई नए आयाम स्थापित किए हैं. अब इन्हें और सशक्त बनाने के लिए जीआईएस में यहां निवेश के दृष्टिगत एमओयू हुए. पूर्वांचल व बुंदेलखंड में स्टांप छूट पर 100 फीसदी, नोएडा व गाजियाबाद को छोड़कर मध्यांचल व पश्चिमांचल में स्टांप शुल्क में 75 फीसदी व नोएडा-गाजियाबाद में स्टांप शुल्क पर 50 फीसदी छूट मिलेगी.

 

 

नोएडा व गाजियाबाद के लिए अलग प्रावधान

 

अधिसूचना के मुताबिक सभी जोन को भी स्पष्ट किया गया है. इसके अनुसार पश्चिमांचल में आगरा, अलीगढ़, मुरादाबाद, सहारनपुर, बरेली व मेरठ मंडल को रखा गया है. इसमें नोएडा व गाजियाबाद जिले शामिल नहीं हैं. इन दोनों जिलों में स्टांप छूट का अलग प्रावधान है. वहीं पूर्वांचल में प्रयागराज, वाराणसी, मीरजापुर, गोरखपुर, आजमगढ़, बस्ती, अयोध्या, देवीपाटन राजस्व मंडल सम्मिलित होंगे. मध्यांचल में लखनऊ व कानपुर तथा बुंदेलखंड में चित्रकूट धाम व झांसी मंडल में निवेश के लिए छूट प्राप्त होगी.

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