Surya Satta
उत्तर प्रदेशलखनऊ

प्रदेश में ईज ऑफ डूइंग बिजनेस और ईज ऑफ स्टार्टिंग बिजनेस के लिए योगी सरकार की पहल

 

उत्तर प्रदेश में निवेश करने वालों को ऑनलाइन ही मिल जाएंगे सारे इंसेटिव्स

प्रत्येक स्तर पर निवेशक अपनी एप्लीकेशन के स्टेटस को कर पा रहे हैं चेक

इंसेंटिव्स का समय से और पारदर्शी तरीके से निस्तारण करने में मिलेगी मदद

निवेश सारथी पोर्टल के जरिए एमओयू की सीधी मॉनीटरिंग कर रहा सीएम कार्यालय

लखनऊ : उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने प्रदेश में निवेश के लिए ईज ऑफ डूइंग बिजनेस और ईज ऑफ स्टार्टिंग बिजनेस का मंत्र दिया है. इसके तहत न सिर्फ निवेशकों को सुगम व्यापार के अवसर उपलब्ध कराए गए, बल्कि व्यापार शुरू करने के लिए भी तमाम छूट प्रदान की गई. उद्यम लगाने के लिए सुरक्षित माहौल से लेकर निवेश के आकार, भौगोलिक परिस्थितियों एवं सेक्टर के लिहाज से जमीन की लीज, स्टाम्प ड्यूटी समेत तमाम क्षेत्रों में छूट प्रदान करने का निर्णय लिया गया. सबसे अहम यह है कि निवेशकों को सरकार द्वारा दिए जाने वाले इंसेंटिव्स के लिए किसी विभाग के चक्कर नहीं लगाने होंगे. सारे इंसेंटिव्स ऑनलाइन ही प्रोसेस हो जाएंगे. जीआईएस के मद्देनजर भी निवेशकों को कई इंसेंटिव्स प्रदान किए जा रहे हैं. ये सभी इंसेंटिव्स ऑनलाइन दिए जाने से निवेशकों को भी काफी राहत मिली हैं. निवेश सारथी पोर्टल के जरिए सीएम कार्यालय एमओयू की सीधी मॉनीटरिंग कर रहा है और निवेश प्रस्तावों को अमली जामा पहनाने के लिए भी मुश्तैदी से खड़ा है.

 

उद्योग जगत के संकट मोचक बने यूपी के बाबा

 

यूपी के बाबा उद्योग जगत के संकट मोचक बन गए हैं. निवेशकों के लिए उन्होंने यूपी को न सिर्फ सबसे अच्छा गंतव्य बनाया, बल्कि सिंगल विंडो प्लेटफॉर्म निवेश मित्र पोर्टल के जरिए यूपी का रास्ता भी सुगम कर दिया. पोर्टल से सूबे में व्यवसाय शुरू करने वाले लोगों को सरकार की ओर से मिलने वाली सभी सरकारी योजनाओं का लाभ ऑनलाइन मिला. वे कहीं भी बैठे यहां की नीतियों से अवगत हुए और निवेश के सुगम रास्ते पर चले. वहीं 2017 से पहले यूपी में उद्योग लगाने के कंटीले रास्तों को सरल बनाने की वजह से निवेशक यहां आने को बेताब हैं.

 

निवेश की राह में बनी बाधाएं हटाई गईं

 

सीएम योगी के मार्गदर्शन में पोर्टल के जरिए निवेश की राह में सभी बाधाओं को हटा दिया गया. मानवीय हस्तक्षेप कम से कम कर दिया गया. निवेश सारथी पोर्टल के जरिए एमओयू की मॉनीटरिंग सीधे मुख्यमंत्री कार्यालय कर रहा है. निवेश के बाद निवेशकों को सब्सिडी के लिए चक्कर न लगाना पड़े, इसके लिए ऑनलाइन मॉनीटरिंग सिस्टम लागू किया गया. निवेश प्रस्तावों को अमली जामा पहनाने का पूरा प्रयास शुरू हो गया है. इसका उदाहरण निवेश के लिए एक अन्य पोर्टल निवेश मित्र के माध्यम से दी गईं सुविधाएं हैं. वहीं निवेश मित्र पोर्टल के जरिए लगभग 3.50 लाख ऑनलाइन एनओसी दी जा चुकी हैं. इसी तर्ज पर निवेश सारथी को और उन्नत करके निवेशकों को समर्पित किया गया है.

 

ओआईएमएस की हुई शुरुआत

 

उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा समस्त नीतियों के तहत ऑनलाइन इंसेंटिव्स प्रदान करने और प्रक्रिया के सरलीकरण के लिए निवेश मित्र पोर्टल के तहत ऑनलाइन इंसेंटिव्स मॉनीटरिंग सिस्टम (ओआईएमएस) लागू किया गया. इस केंद्रीयकृत सिस्टम के जरिए इंसेंटिव्स की प्रक्रिया, स्वीकृति एवं भुगतान किया जाएगा. पोर्टल को इस तरह विकसित किया गया है कि यह स्वतः व्यापार की प्रवृत्ति को समझकर संबंधित विभाग की नीति के तहत मिलने वाले इंसेंटिव्स को अप्लाई करने का अवसर देगा. पोर्टल यह भी सुनिश्चित करेगा कि संबंधित विभाग में इंसेंटिव की प्रक्रिया का ऑनलाइन निस्तारण हो और प्रत्येक स्तर पर निवेशक इसके स्टेटस को ट्रैक कर सकें. पोर्टल में लीडरशिप डैशबोर्ड भी है, जिसे संबंधित विभाग के प्रमुख निवेशकों की ऑनलाइन इंसेंटिव्स प्रक्रिया की निगरानी कर पा रहे हैं. इससे समय पर पारदर्शी तरीके से इंसेंटिव्स का निस्तारण करने में मदद मिलेगी.

 

पोर्टल से ही जारी हो रहा लेटर ऑफ कम्फर्ट

 

यह पोर्टल ऑनलाइन एप्लिकेशन फाइलिंग और ट्रैकिंग के अलावा निवेशकों के विभागों से संबंधित सवालों का जवाब भी दे रहा. पोर्टल के द्वारा लेटर ऑफ कम्फर्ट (एलओसी) भी जारी किया जा रहा. नोडल एजेंसियों, प्रशासनिक विभागों, संबंधित विभागों एवं उत्तर प्रदेश सरकार के अधिकारियों के लिए पोर्टल पर अलग से लॉग-इन की सुविधा है. इसके साथ ही पोर्टल नोडल एजेंसी व विभागों की कमेटी बैठकों के एजेंडे/एप्रेजल को अपलोड और फॉरवर्ड कर सकेगा. यह पोर्टल निवेशकों के लिए उनके इन्सेंटिव्स से जुड़ी सभी समस्याओं के लिए वन स्टॉप सॉल्यूशन का काम करेगा.

 

निवेश सारथी के जरिए हो रहा एमओयू

 

निवेशकों को प्रदेश में निवेश से जुड़ी सभी जानकारियां और उन्हें निवेश के लिए प्रोत्साहित करने के अलावा निवेश सारथी पोर्टल पर ही एमओयू भी किया जा रहा है. ये सरकार की सबसे बड़ी पहल है. जो फिजिकल एमओयू होंगे भी, उन्हें पोर्टल पर अपलोड किया जाना अनिवार्य है.

पोर्टल पर इन्वेस्टर रिलेशनशिप मैनेजमेंट सिस्टम के जरिए निवेशकों को निवेश के बाद भी हर तरह के सहयोग का अवसर मिलने वाला है. इसके जरिए सभी तरह के निवेशों की निगरानी भी की जा रही है. इस पोर्टल के जरिए निवेशक निवेश इंटेंट को फाइल करने में सक्षम हुए और निवेश व परियोजना की निगरानी/लाभ प्राप्त कर सकेंगे. निवेशक और विभाग के बीच संवाद के अलावा प्रपत्रों को अपलोड और डाउनलोड करने की भी सुविधा है. अलग-अलग विभागों के 35 नोडल अधिकारी इस पोर्टल पर निवेशकों की समस्याओं का समाधान कर रहे हैं. यह पोर्टल मुख्यमंत्री की मंशा के अनुरूप न सिर्फ निवेशकों की हर समस्या का समाधान कर रहा है, बल्कि इसके जरिए प्रदेश में निवेश के नए रास्ते खुल रहे हैं.

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