दस्तक अभियान के तहत खोजे जा रहे टीबी मरीज, 31 जुलाई तक चलेगा अभियान
सीतापुर। जिले में टीबी (क्षय) रोगियों की पहचान का काम चल रहा है. संचारी रोग नियंत्रण अभियान के तहत जिले में 16 जुलाई से शुरू हुए दस्तक अभियान के तहत आशा और आंगनबाड़ी कार्यकर्ता घर-घर जाकर क्षय रोगियों को चिन्हित करने का भी काम कर रहीं हैं. यह अभियान आगामी 31 जुलाई तक चलेगा.
सीएमओ डॉ. मधु गैरोला ने बताया कि जिले के सभी 19 ब्लॉक स्तरीय सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों के कार्यक्षेत्रों में दस्तक अभियान के तहत टीबी के मरीजों को खोजने का काम किया जा रहा है. उन्होंने बताया कि इस अभियान की सफलता के लिए आशा और आंगनबाड़ी कार्यकर्ता को इसमें शामिल किया गया है. इन सभी को पूर्व में प्रशिक्षण भी दिया जा चुका है.
सीएमओ ने बताया कि इस अभियान के दौरान आशा और आंगनबाड़ी कार्यकर्ता की टीम घर-घर जाकर टीबी के मरीजों के अलावा बुखार और कुपोषित बच्चों की सूची भी तैयार करेंगी. किसी परिवार में यदि किसी को दो सप्ताह या उससे अधिक समय से खांसी आ रही है, बलगम में खून आ रहा है तो ऐसे संभावित मरीज के बलगम का सैंपल लेकर उसकी जांच कराई जाएगी और टीबी की पुष्टि होने पर क्षय रोग विभाग द्वारा उनका नि:शुल्क उपचार भी कराया जाएगा.
यह हैं टीबी के लक्षण
जिला क्षय रोग अधिकारी डॉ. मुसाफिर यादव ने बताया कि टीबी के लक्षण जैसे कि दो हफ्ते या उससे अधिक समय से लगातार खांसी का आना, खांसी के साथ बलगम और बलगम के साथ खून आना, वजन का घटना व भूख कम लगना, लगातार बुखार रहना, सीने में दर्द होना टीबी रोग के लक्षण हैं. इन लक्षणों वाले मरीजों को क्षय रोग केंद्र पर टीबी की जांच करानी चाहिए. उन्होंने यह भी बताया कि उपचारित मरीज दवा बीच में न छोड़ें.